doston ye kavita ek beti ki kwaahish k naam se dedicate kar rha hu..
बेटी बोली -
माँ मैं क्रिकेटर बनूँगी,
सचिन की तरह रिकॉर्ड तोडूंगी !
माँ बोली -
आहिस्ता बोल सब हसेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
माँ मैं बाबा का व्यापार चलाऊँगी,
छोटी सी दुकान से बड़ा दफ्तर बनाउंगी!
माँ बोली –
आहिस्ता बोल बाबा गुस्सा करेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
तो माँ मैं नेता बन जाऊंगी,
देश की हालत में कुछतो सुधार लाऊंगी !
माँ बोली –
कुर्सी तक पहुँचने से पहले ही सब नोंच लेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
तो माँ मैं क्या करूँ,
बस यूँहीं अपनी ख्वाहिशों को दफ़न करती रहूँ ?
माँ बोली –
बेटी तू शादी करले,
तेरे ससुराल वाले तुझसे खूब मोह जताएंगे !
बेटी बोली –
माँ झूठ न बोल,
ना छीन मुझसे मेरे ये पल अनमोल !
शादी करके मैं फंस जाऊंगी,
सिर्फ बच्चा पैदा करने की मशीन कहाऊंगी !
तू कुछ कर ना पाएगी, बेटी परायी होते ही तेरे
हाथ बांध जायेंगे,
मेरे भी हाथ पति और बच्चों के मोह से बांध दिए
जायेंगे !
मेरे सारे सपने शादी के लिबास से दफ़न कर दिए
जायेंगे,
और फिर तेरे वो चार लोग भी मुझे न
बचा पाएंगे !!
माँ मैं क्रिकेटर बनूँगी,
सचिन की तरह रिकॉर्ड तोडूंगी !
माँ बोली -
आहिस्ता बोल सब हसेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
माँ मैं बाबा का व्यापार चलाऊँगी,
छोटी सी दुकान से बड़ा दफ्तर बनाउंगी!
माँ बोली –
आहिस्ता बोल बाबा गुस्सा करेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
तो माँ मैं नेता बन जाऊंगी,
देश की हालत में कुछतो सुधार लाऊंगी !
माँ बोली –
कुर्सी तक पहुँचने से पहले ही सब नोंच लेंगे,
और फिर चार लोग क्याकहेंगे !!
बेटी बोली –
तो माँ मैं क्या करूँ,
बस यूँहीं अपनी ख्वाहिशों को दफ़न करती रहूँ ?
माँ बोली –
बेटी तू शादी करले,
तेरे ससुराल वाले तुझसे खूब मोह जताएंगे !
बेटी बोली –
माँ झूठ न बोल,
ना छीन मुझसे मेरे ये पल अनमोल !
शादी करके मैं फंस जाऊंगी,
सिर्फ बच्चा पैदा करने की मशीन कहाऊंगी !
तू कुछ कर ना पाएगी, बेटी परायी होते ही तेरे
हाथ बांध जायेंगे,
मेरे भी हाथ पति और बच्चों के मोह से बांध दिए
जायेंगे !
मेरे सारे सपने शादी के लिबास से दफ़न कर दिए
जायेंगे,
और फिर तेरे वो चार लोग भी मुझे न
बचा पाएंगे !!
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